परीक्षा हॉल में जाँच को लेकर होता था देशी – विदेशी छात्रों में भेद भाव
गौतमबुद्ध विश्ववविद्यालय में इन दिनों मिड टर्म की परीक्षाएं चल रही है। शुक्रवार को हुई परीक्षा के दौरान विद्यार्थियों की जाँच करने पहुंचे उड़न दस्ते की टीम ने जाँच करना शुरू किया और विदेशी छात्रों की भी जाँच की इच्छा जताई तो वहां मौजूद कुछ शिक्षकों ने उन्हें ऐसा करने से रोकने लगे और कहा कि इससे पहले कभी भी विदेशी छात्रों की जाँच नहीं हुई है और शिक्षक दो गुटों में बट गए एक गुट विदेशी छात्रों की जाँच विरोध कर रहा था तो शिक्षकों का दूसरा गुट जाँच के पक्ष में था उनका कहना था कि नियम सब छात्रों के लिये एक जैसा होना चाहिए चाहे वो स्थानीय हो या फिर विदेशी।
विवि में पता करने पर सूत्रों से पता चला की 2008 से संचालित जीबीयू में कभी भी विदेशी छात्रों की परीक्षा के दौरान जाँच नहीं की गई है। सूत्रों ने यभी बताया कि यह सब एड्मिसन शीट के लिया किया जाता रहा है।
उड़न दस्ते ने शिक्षकों का तर्क सुन यह फैसला लिया की विदेशी छात्रों की भी जाँच हो गी और परीक्षा में बैठे विदेशी छात्रों की जाँच की तो 3 विदेशी छात्र नक़ल करते पकडे गए जिनमे से 2 विदेशी छात्रों को परीक्षा नहीं देने दिया गया जबकि 1 विदेशी छात्र को चेतावनी देकर छोड़ दिया गया। नक़ल करते पकड़े गए विदेशी छात्रों में 2 छात्रों जिसमें की पहला छात्र बीए इन बुद्धिज़्म व दूसरा एमफिल इन बुद्धिज़्म छात्र है इनके पास से नक़ल वाली पर्ची मिली थी जिसके कारण इनको परीक्षा देने से रोक दिया गया था तीसरा छात्र हाँथ में प्रश्न के उत्तर लिख कर लाया था ।
यह पहली बार हुआ था जब जीबीयू में परीक्षा के दौरान कोई विदेशी छात्रों की जाँच हुई हो और जाँच में नक़ल करते हुए 3 छात्र पकडे गए हों।
जब विवि के रजिस्टार से विदेशी छात्रों के नक़ल करते हुए पकड़े जाने के मामले में पूंछा गया तो ये कहते हुए किनारा कर लिया की मुझे इस मामले में कोई जानकारी नहीं है