टेन न्यूज नेटवर्क
ग्रेटर नोएडा (3 मई 2022)
ग्रेटर नोएडा के सुरजपुर में स्थित गारमेंट्स एक्सपोर्ट यूनिट की कम्पनी बी.एल.इंटरनेशनल लिमिटेड बीते दो सप्ताह से महिला श्रमिकों के हड़ताल के कारण ठप्प पड़ा हुआ है ,जिससे अन्य इच्छुक महिला श्रमिक एवं कर्मचारियों और उद्यमी को हो रही है काफी परेशानी।
*पुलिस में शिकायत की पर नही मिल रहा है सहयोग*
इंडस्ट्रियल इन्टरपेनुइओर्स एससोसिएशन के अध्यक्ष पी. के तिवारी ने टेन न्यूज़ से बातचीत करते हुए कहा कि ” फैक्ट्री में एक श्रमिक के साथ मामूली विवाद हुआ जिसके बाद प्रबंधन ने उसे आगे काम ना करने और बाहर जाने को कहा जिसके बाद करीब 8-10 श्रमिक उसके समर्थन में आ गए और वहीं प्रवेश द्वार पर धरने पर बैठ गए कि जबतक उन सभी श्रमिकों को वापस काम पर नहीं रखते तबतक वह धरने पर बैठे रहेंगे।
संस्था के अध्यक्ष पी.के.तिवारी ने टेन न्यूज से बात करते हुए कहा कि 450 से अधिक कर्मचारी कार्य करने हेतु इच्छुक हैं परंतु 10-12 कर्मचारियों के कारण कार्य बाधित है ,जिसकी शिकायत उन्होंने पुलिस में भी की थी लेकिन पुलिस से किसी भी प्रकार का सहयोग नहीं मिल रहा है।
*हठधर्मिता के कारण वार्ता रही विफल: उप श्रम आयुक्त,गौत्तमबुद्ध नगर*
इस बाबत प्रतिष्ठान के अधिकारियों एवं सेवायोजकों ने जिला प्रशासन को भी मामले से अवगत कराया परन्तु कोई समाधान नहीं निकला।
ज्ञात हो कि गौत्तमबुद्ध नगर की उप श्रम आयुक्त वंदना ने जिलाधिकारी को एक पत्र लिखा जिसमें उन्होंने मामले की यथास्थिति को दर्शाते हुए कहा कि “सहायक श्रम आयुक्त एवं श्रम प्रवर्तन अधिकारी द्वारा निरंतर दोनों पक्षों के मध्य प्रतिष्ठान स्तर पर जाकर वार्ता कराकर गतिरोध दूर करने का प्रयास किया गया किंतु पक्षों की हठधर्मिता के कारण वार्ता विफल रही है।”
आगे उन्होंने कहा कि “औद्योगिक शांति को देखते हुए प्रतिष्ठान प्रबंधकों को यह परामर्श दिया गया कि जो श्रमिक कार्य करना चाह रहे हैं उन्हें तत्काल कार्य पर रखें तथा श्रमिकों के विरुद्ध कोई भी ऐसा कार्य ना करें कि औद्योगिक शांति पर प्रतिकूल प्रभाव पड़े”
इसके बाबजूद भी तनाव की स्थिति बनी हुई है और कार्य बाधित है।
*पुलिस से नही मिल रहा है अपेक्षित सहयोग*
संस्था के अध्यक्ष पी.के. तिवारी ने कहा हमने पुलिस में शिकायत भी दर्ज की है परंतु उन्होंने पुलिस द्वारा अपेक्षित सहयोग नहीं मिलने का आरोप लगाया।
साथ ही पी. के. तिवारी ने कहा कि इस क्षेत्र में श्रमिकों द्वारा नियम कानून को ताख पर रखकर अपनी मनमानी और दादागिरी की जाती है।
सवाल यह उठता है कि आखिर गौत्तमबुद्ध नगर जैसे जिले में जँहा सरकार ने “वन डिस्ट्रिक्ट वन प्रोडक्ट” योजना की बात करती है इस ज़िले का गारमेंट ही प्रोडक्ट है वहां इतने दिनों तक गारमेंट्स निर्यात के प्रतिष्ठान का बन्द रहना कितना सही है? टैक्स हानि के कारण क्या सरकार का भी नुक़सान नहीं हो रहा है । प्रशासन के आला अधिकारियों की यह जिम्मेदारी है कि वह पूरी समन्वयता से जल्द से जल्द इस गतिरोध को समाप्त करें और औद्योगिक शांति कायम करें।
*इस बाबत पुलिस का पक्ष जानने के लिए हमने DCP ग्रेटर नोएडा से संपर्क साधने का प्रयास किया है संपर्क होते ही हम पुलिस के पक्ष को अपडेट करेंगे।।*